Guru Purnima 2024: हिंदू धर्म में गुरु पूर्णिमा का बहुत अधिक महत्व होता है. जावन में गुरु कितना महत्वपूर्ण है, इसे आप इस बात से भी अंदाजा लगा सकते हैं कि गुरु की पूजा के लिए हर साल आषाढ़ पूर्णिमा का पावन पर्व बड़े ही उत्साह से मनाया जाता है. इस दिन लोग अपने गुरु के प्रति अपनी आस्था और विश्वास प्रकट करते हुए उनकी पूजा करते हैं, लेकिन यदि किसी का कोई गुरु न हो तो वो क्या करे? गुरु के न होने आखिर किसकी पूजा करनी चाहिए.
जीवन में क्यों जरूरी है गुरु
हिंदू मान्यता के अनुसार, जीवन गुरु व्यक्ति को अंधेरे से निकाल कर प्रकाश की ओर ले जाता है. गुरु एक ऐसा व्यक्ति होता है जो एक स्थान पर रहते हुए न जाने कितने लोगों को उनकी मंजिल पर पहुंचाता है. वह इंसान को गलत और सही में फर्क बताते हुए जीवन की सही राह दिखाते हुए उसे उसके लक्ष्य की प्राप्ति का ज्ञान प्रदान करता है. जीवन में धर्म, संस्कृति संस्कार आदि का ज्ञान गुरु देते हैं. गुरु हमें वह ज्ञान देते हैं जिसे कोई भी चोर कभी चुरा नहीं सकता है. सनातन परंपरा के अनुसार जीवन से जुड़ी कोई सााधना हो या फिर कोई भी पूजन कार्य बगैर गुरु के वह सफल नहीं हो सकता है.
तब करें अपनी मां की पूजा
यदि आपको अभी तक कोई गुरु खोजने पर भी नहीं मिला है तो आपको उस व्यक्ति की पूजा करनी चाहिए जिसने आपको न सिर्फ जन्म दिया बल्कि आपको इस जीवन में सबसे पहला चलने, बैठने, बोलने आदि का पाठ सिखाया हो. निश्चित रूप से गुरु का स्थान ऊपर है, लेकिन उसमें उससे भी ऊपर माता-पिता का स्थान है, जिसकी परिक्रमा करके भगवान श्री गणेश प्रथम पूजनीय बन जाते हैं. इसमें भी मां तो सर्वोपरि है क्योंकि वह अपने बच्चों को अच्छे संस्कार देते हुए एक बेहतर इंसान बनाती है. ऐसे में यदि गुरु न हो तो अपनी मां की पूजा करें.
जब कोई गुरु न हो तब क्या करें
सनातन परंपरा में जीवन से जुड़ी सभी समस्या का समाधान बताया गया है. यदि आपका कोई गुरु न हो तो आदमी को अपने इष्टदेव को गुरु मान उनकी पूजा गुरु पूर्णिमा के दिन करना चाहिए. हिंदू मान्यता के अनुसार गुरु के न होने पर आप गुरु पूर्णिमा के दिन प्रथम पूजनीय भगवान श्री गणेश, प्रत्यक्ष देवता भगवान सूर्य, लोक कल्याण के देवता माने जाने वाले भगवान शिव, जगत के नाथ भगवान श्री विष्णु, पूर्णावतार भगवान श्री कृष्ण, शक्ति या फिर कलयुग के देवता भगवान श्री हनुमान जी को गुरु मानकर उनकी पूजा कर सकते हैं.