बिना किसी क्लिक के हैक हो रहा WhatsApp, ‘जीरो-क्लिक अटैक’ से खतरे में यूजर्स

WhatsApp दुनियाभर में सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाने वाला इंस्टेंट मैसेजिंग प्लेटफॉर्म है, जो अपने यूजर्स को एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन जैसी सुरक्षा सुविधाएं प्रदान करता है। इससे यूजर्स की चैट्स को कोई तीसरा व्यक्ति नहीं पढ़ सकता, यहां तक कि खुद WhatsApp भी नहीं। लेकिन हाल ही में एक नई साइबर हमले की तकनीक सामने आई है, जिससे यूजर्स की प्राइवेसी खतरे में पड़ सकती है।

क्या है ‘जीरो-क्लिक अटैक’?

‘जीरो-क्लिक अटैक’ एक ऐसा साइबर हमला है जिसमें यूजर को किसी लिंक पर क्लिक करने या किसी फाइल को डाउनलोड करने की जरूरत नहीं पड़ती। इस तकनीक के जरिए हैकर्स टारगेट किए गए स्मार्टफोन पर एक विशेष तरह का इलेक्ट्रॉनिक डॉक्यूमेंट भेजते हैं, जो बिना किसी इंटरैक्शन के खुद ही एक्टिवेट हो जाता है और डिवाइस को हैक कर लेता है।

यह अटैक बेहद खतरनाक इसलिए है क्योंकि यूजर को इसके बारे में कोई जानकारी नहीं होती और वे बिना किसी संदेह के अपने फोन का इस्तेमाल करते रहते हैं। इस हमले के जरिए हैकर्स स्मार्टफोन के मैसेज, कॉल, फोटो, वीडियो, कैमरा और माइक्रोफोन तक का एक्सेस हासिल कर सकते हैं।

कौन कर रहा है इस खतरनाक अटैक का इस्तेमाल?

रिपोर्ट्स के मुताबिक, ‘जीरो-क्लिक अटैक’ को इजरायली फर्म Paragon Solutions द्वारा विकसित किया गया है। इस स्पाइवेयर का इस्तेमाल कई देशों में पत्रकारों, राजनेताओं और सामाजिक कार्यकर्ताओं की जासूसी करने के लिए किया जा रहा है। एक रिपोर्ट के अनुसार, 90 से अधिक यूजर्स को इस हमले के जरिए निशाना बनाया गया है।

WhatsApp ने इस अटैक को लेकर चिंता जाहिर की है और कहा है कि वे यूजर्स की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए लगातार काम कर रहे हैं। कंपनी ने इस तरह के साइबर हमलों से बचने के लिए उपाय खोजने की दिशा में प्रयास तेज कर दिए हैं।

आम यूजर्स के लिए कितना बड़ा खतरा?

हालांकि अभी तक इस हमले का शिकार ज्यादातर हाई-प्रोफाइल लोग हुए हैं, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि भविष्य में आम यूजर्स भी इसकी चपेट में आ सकते हैं। क्योंकि यह अटैक किसी भी व्यक्ति के फोन को बिना उसकी जानकारी के हैक कर सकता है, इसलिए यह बेहद खतरनाक है।

साइबर सिक्योरिटी विशेषज्ञों के अनुसार, यह हमला स्मार्टफोन ऑपरेटिंग सिस्टम की कमजोरियों का फायदा उठाकर किया जाता है। इसलिए, समय-समय पर अपने फोन का सॉफ़्टवेयर अपडेट करना और अनजाने नंबरों से आए किसी भी संदिग्ध कॉल या मैसेज से सावधान रहना बेहद जरूरी है।

कैसे बचा जा सकता है ‘जीरो-क्लिक अटैक’ से?

हालांकि इस तरह के हमलों से बचाव करना आसान नहीं है, लेकिन कुछ सुरक्षा उपाय अपनाकर खतरे को कम किया जा सकता है:

  1. सॉफ़्टवेयर अपडेट करें – अपने स्मार्टफोन और ऐप्स को हमेशा लेटेस्ट वर्जन पर अपडेट रखें, क्योंकि कंपनियां समय-समय पर सुरक्षा सुधार जारी करती हैं।
  2. अनजाने मैसेज और कॉल्स से बचें – यदि किसी अनजान नंबर से मैसेज या कॉल आता है, तो सतर्क रहें और उसे नज़रअंदाज करें।
  3. सिक्योरिटी सेटिंग्स चेक करें – WhatsApp और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म की प्राइवेसी सेटिंग्स को मजबूत करें।
  4. संदिग्ध एक्टिविटी पर नजर रखें – अगर आपका फोन अचानक स्लो हो जाए, बैटरी जल्दी खत्म होने लगे, या कोई अजीब एक्टिविटी दिखे, तो यह किसी साइबर अटैक का संकेत हो सकता है।
  5. एंटी-वायरस और सिक्योरिटी ऐप्स का इस्तेमाल करें – कुछ एंटी-वायरस और सिक्योरिटी टूल्स ऐसे हमलों को पहचानने और रोकने में मदद कर सकते हैं।

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WhatsApp का क्या कहना है?

WhatsApp ने इस मुद्दे पर बयान जारी करते हुए कहा है कि वे लगातार अपने प्लेटफॉर्म की सुरक्षा मजबूत करने पर काम कर रहे हैं। कंपनी ने इस तरह के साइबर हमलों को रोकने के लिए टेक्नोलॉजी में सुधार करने और उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा को प्राथमिकता देने की बात कही है।

निष्कर्ष

‘जीरो-क्लिक अटैक’ साइबर अपराध की दुनिया में एक नई और खतरनाक चुनौती है, जिससे बचना आसान नहीं है। चूंकि यह अटैक बिना किसी यूजर इंटरैक्शन के होता है, इसलिए इसे रोकना मुश्किल हो सकता है। लेकिन कुछ सावधानियां बरतकर और अपने फोन को अपडेट रखते हुए इस खतरे को कम किया जा सकता है। WhatsApp और अन्य टेक कंपनियां इस तरह के हमलों को रोकने के लिए लगातार काम कर रही हैं, लेकिन तब तक यूजर्स को अपनी सुरक्षा को लेकर सतर्क रहना होगा।

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